Uttarakhand Poltics News: गैरसैंण के भराड़ीसैंण में आयोजित बजट सत्र समाप्त हो गया है। इस बार बजट सत्र में न केवल कई तरह के महत्वपूर्ण फैसले लिए गए, बल्कि कई वजहों से सत्र चर्चा में रहा। सबसे पहले राज्यपाल का अभिभाषण होते ही कांग्रेस ने अपमान का आरोप लगा दिया। फिर गन्ना किसानों को भुगतान समेत विशेषाधिकार हनन मामले पर विपक्ष ने हंगामा किया। इतना ही नहीं सदन में कागज भी फेंके गए। जिस पर विपक्ष के सदस्यों को निलंबित करना पड़ा। इसके अलावा कई ऐसे घटनाक्रम हुए जिससे गैरसैंण का बजट सत्र सुर्खियों में रहा। ग्रीष्मकालीन राजधानी गैरसैंण में चार दिन की चांदनी के बाद फिर सन्नाटा पसर गया। छह दिन का कामकाज चार दिन में निपटाने की करामात कर कई विधायक और अफसरान रातों-रात अपने-अपने गंतव्यों के लिए कूच कर गए।
चार दिनों में बजट सत्र की कार्यवाही 21 घंटे 36 मिनट तक चली। जिसके बाद विपक्ष ने भी सरकार पर तंज कसा पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा की सरकार को भराड़ीसैंण में फिर ठंड लग गई! 4 दिन में ही बोरिया-बिस्तर बांध कर देहरादून लौट आए। राज्य की ग्रीष्मकालीन राजधानी में ग्रीष्म के आगाज के साथ भी सरकार को भराड़ीसैंण में बजट पर दो दिन चर्चा कराने की हिम्मत नहीं जुट पाई! कैसी है ये ग्रीष्मकालीन राजधानी? अब तो शक होता है कि तत्कालीन मुख्यमंत्री ने अपनी पार्टी से परामर्श व सोच विचार कर गैरसैंण में ग्रीष्मकालीन राजधानी की घोषणा की थी !! आज कोई भराड़ीसैंण जाए तो ग्रीष्मकालीन राजधानी में लिपिक और चपरासी तक आपको दर्शन देकर कृतार्थ नहीं करेंगे।