उत्तराखंड: डगमगा रही चारधाम यात्रा व्यवस्था, सीएम धामी ने की श्रद्धालुओं से अपिल

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चार धाम यात्रा के शुरू होते ही उत्तराखंड में पर्यटकों की भीड़ पहुंचनी शुरू हो गई है। यहां श्रद्धालु इतनी तादाद में पहुंच रहे हैं, जिसका अंदाजा शासन प्रशासन को नहीं था। जिसके कारण लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। स्थिति यह है कि चारधाम में धारण क्षमता से अधिक श्रद्धालु प्रति दिन पहुंच रहे हैं। दरअसल, इस बार दो वर्ष बाद कोरोना की छाया से मुक्त होकर बिना किसी प्रतिबंध के चार धाम यात्रा शुरू हुई है। ऐसे में देश के कोने-कोने से श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ रही है।

सीएम पुष्कर सिंह धामी ने चारधाम यात्रा पर आ रहे श्रद्धालुओं को लेकर अपील करते हुए कहा, पहले दिन ही यहां ज्‍यादा पर्यटक और श्रद्धालु आ गए हैं। हमने सभी तरह की व्यवस्थाएं कर रखी हैं, लेकिन जितनी व्यवस्थाएं कर रखी हैं उससे कई ज्‍यादा संख्या में लोग आ रहे हैं। जिसके कारण कुछ लोगों को परेशानियों का सामना भी करना पड़ रहा है। उन्होंने कहा, रात का तापमान कम होने से पर्यटकों को परेशानी हो रही है। हालांकि सरकार ने अपनी तरफ से श्रद्धालुओं के लिए पूरी व्यवस्था की है और आगे इसमें और बढ़ोतरी की जाएगी। मुख्यमंत्री ने वर्तमान में श्रद्धालुओं की संख्या को देखते हुए सभी से अपील की है कि यात्रा शुरू करने से पहले सभी तैयारियां पूरी कर लें। इसके बाद ही आगे की यात्रा करें।

प्रदेश में चारधाम यात्रा गंगोत्री व यमुनोत्री धाम के कपाट खुलने के साथ ही तीन मई से शुरू हो चुकी है। अब केदारनाथ व बदरीनाथ धाम के कपाट भी खुल चुके हैं। अनुमान है कि इस बार देश के कोने-कोने से श्रद्धालु यात्रा करने के लिए पहुंचने वाले हैं। सरकारी आदेश के मुताबिक रोजाना 15 हजार श्रद्धालु बद्रीनाथ के दर्शन कर सकेंगे। वहीं रोजाना 7 हजार तीर्थयात्री केदारनाथ धाम के दर्शन कर सकेंगे। ऐसे ही गंगोत्री में 7 हजार और यमुनोत्री में 4 हजार की संख्या में श्रद्धालु रोजाना दर्शन कर सकेंगे। श्रद्धालुओं की संख्या को देखते हुए सीएम धामी ने सभी से अपील की है। सरकार पूरी व्यवस्था बनाने में लगी है और मैं पर्यटकों से उनके ठहरने और दर्शन की योजना बनाने का आग्रह करता हूं।