मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने आज सचिवालय में ‘‘हमारी विरासत एवं विभूतियां’’ पुस्तक का विमोचन किया। Book Hamari Virasat Evam Vibhutiyan इस पुस्तक के माध्यम से सरकारी विद्यालयों में प्रारंभिक कक्षाओं के छात्र अब राज्य आंदोलन के साथ ही अमर शहीदों के बलिदान की गाथा से भी परिचित होंगे। मुख्यमंत्री की घोषणा के बाद राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद द्वारा हमारी विरासत एवं विभूतियां पुस्तक प्रकाशित की गई है, जिसे कक्षा छह से आठ तक सामाजिक विज्ञान विषय की सहायक पुस्तिका के रूप में पाठ्यक्रम में शामिल किया जाएगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि यह पुस्तक राज्य की युवा पीढ़ी को अपनी समृद्ध सांस्कृतिक, लोक विरासत, लोकगीत, लोक नृत्य के साथ संस्कृति के विविध आयामों से परिचित कराने में मददगार होने के साथ राज्य की महान विभूतियों के जीवनी से परिचित हो सकेंगे।
उन्होंने कहा कि किसी भी देश व प्रदेश का सामाजिक एवं आर्थिक विकास वहां के बच्चों को दी जाने वाली शिक्षा की गुणवत्ता पर निर्भर करती है। इसमें शिक्षकों की भी बड़ी जिम्मेदारी होती है। बच्चों को जीवन में आगे बढाने में उनका अमूल्य योगदान रहता है। महानिदेशक शिक्षा बंशीधर तिवारी ने बताया, बाल साहित्य के रूप में छात्रों के हित में इस पुस्तक को प्रकाशित किया गया है। इसके माध्यम से छात्र-छात्राओं को राज्य के प्राकृतिक स्थलों, वेशभूषा, खानपान और अपनी संस्कृति की जानकारी मिलेगी। उन्होंने बताया कि प्रारंभिक कक्षाओं में छात्र श्रीदेव सुमन, तीलू रौतेली सहित अनेक महान विभूतियों के बारे में पढ़ेंगे। विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए भी यह पुस्तक आधार बनेगी। इस पुस्तक के माध्यम से बच्चों को राज्य की धार्मिक, एतिहासिक, सामाजिक एवं सांस्कृतिक विरासत से भी परिचित होंगे। महानिदेश शिक्षा ने बताया कि एससीईआरटी की ओर से कक्षा छह से आठ तक के छात्र-छात्राओं के लिए ‘‘हमारी विरासत एवं विभूतियां’’ पुस्तक प्रकाशित करने के बाद इसी प्रकार अब कक्षा नौ और 10वीं के छात्र-छात्राओं के लिए भी पुस्तक तैयार की जाएगी।