जी हां दोस्तो उत्तराखंड में प्रतिबंधित मांस को लेक खूब हुआ बवाल, अब आए नए अपडेट ने बता दिया कि कैसे नैनीतिला हाईकोर्ट कस रहा शिकंजा। कोर्ट की मामले में सख्ती ऐसी की अब खुद नैनीताल एसएसपी को कर दिया तलब, पूरा अपडेड बताने के लिए आया हूं दोस्तो। Banned meat in Uttarakhand दगड़ियो अपनी देवभूमि में आपने देखा होगा कुछ दिन पहले कुमाउं के रामनगर में प्रतिबंधित मांस को लेकर कैसे हंगामा हुआ। मामले में जहां बीजेपी के कई नेताओं के नाम सामने आए तो वहीं पुलिस की कार्यशैली पर सवाल भी उठे, लेकिन अब नया अपडेट आया है। दोस्तो उत्तराखंड के मांस विवाद में हाईकोर्ट ने सख्त रुख अपनाते हुए नैनीताल के SSP को सीधे कोर्ट में पेश होने के आदेश दे दिए हैं। मामले की गंभीरता को देखते हुए न्यायालय ने कार्रवाई को तेज कर दिया है और अब सभी संबंधित अधिकारियों से जवाब मांगा जाएगा। इस फैसले से उम्मीद जताई जा रही है कि मामले की गुत्थी जल्द सुलझेगी। हां अभी तक दोस्तो जिन बीजेपी नेताओं समेत तकरीबन 20 लोगों पर मुकदमे की बात पुलिस कर रही थी। उन लोगों में से महज 4-5 लोगों की गिरफ्तारी ही पुलिस कर पाई है। पूरी खबर बता रहा हूं थोड़ा गौर कीजिएगा, दोस्तो रामनगर गौ मांस प्रकरण में आरोपियों पर कार्रवाई नहीं होने के मामले में हाईकोर्ट ने एसएसपी नैनीताल को सोमवार को व्यक्तिगत रूप से पेश होने के निर्देश दिए हैं। मुख्य न्यायाधीश की अगुवाई वाली पीठ में नूरजहां और एक अन्य की याचिका पर सुनवाई हुई।
याचिकाकर्ता की ओर से कहा गया कि 23 अक्टूबर को भीड़ ने पिकअप वाहन पर हमला कर दिया और उसके पति चालक नासिर की पिटाई कर दी। याचिकाकर्ता की ओर से ये भी कहा गया कि पुलिस आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं कर रही है, जबकि मुख्य आरोपी खुला घूम रहा है। सरकार की ओर से कहा गया कि 31 अभियुक्तों की पहचान की जा चुकी है, जिनमें से 8 को गिरफ्तार किया जा चुका है जबकि मुख्य अभियुक्त जिसका नाम मदन जोशी बतायाय गया। उस आरोपी के खिलाफ गैर-जमानती वारंट जारी किया गया है। सरकार ने कहा कि एक्शन टेकन रिपोर्ट अगली तरीख पर पेश कर देगी। कोर्ट ने इसके बाद एसएसपी को कोर्ट में पेश होने के निर्देश जारी कर दिए हैं। यहां दोस्तो मै आपको बता दूं कि ये मामला 23 अक्टूबर का है, जब प्रतिबंधित मांस पकड़े जाने की सूचना पर जमकर हंगामा हुआ था। वाहन चालक के साथ मारपीट की गई थी। पीड़ित चालक की पत्नी की तहरीर के आधार पर पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता (BNS) की धारा 109 (गंभीर चोट पहुंचाना) और 190 (अवैध हमला व हिंसा) के तहत मुकदमा दर्ज किया था। वहीं दोस्तो नैनीताल जनपद के रामनगर में प्रतिबंधित मांस पकड़े जाने के मामले में वाहन चालक के साथ मारपीट प्रकरण में पुलिस ने बड़ी कार्रवाई की बात की थी। दो आरोपियों को गिरफ्तार किया। यह घटना 23 अक्टूबर की है, जब कथित प्रतिबंधित मांस के शक में वाहन चालक के साथ कुछ लोगों ने मारपीट की थी।
घटना के बाद पीड़ित चालक की पत्नी निवासी गूलरघट्टी ने पुलिस को तहरीर देकर न्याय की मांग की थी। रामनगर में कथित प्रतिबंधित मांस प्रकरण ने एक बार फिर तूल पकड़ा तो मामले में कोर्ट ने सख्ती देखने को मिल रही है। इस, मामले में विभिन्न सामाजिक और धार्मिक संगठनों के लोगों ने तहसील परिसर पहुंचकर नामजद आरोपियों की गिरफ्तारी और घायल वाहन चालक को 10 लाख रुपए का मुआवजा देने की मांग करते हुए धरना-प्रदर्शन किया था। दोस्तो इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने आरोप लगाया कि 23 अक्टूबर को कुछ लोगों ने वाहन चालक के साथ मारपीट की, लेकिन घटना को हुए इतने दिन बीत जाने के बाद भी पुलिस अब तक नामजद आरोपियों को गिरफ्तार नहीं कर पाई है। पुलिस ने केवल 2 -4 लोगों को ही गिरफ्तार किया है। ऊधर पुलिस की मानें तो पीड़ित चालक की पत्नी की तहरीर के आधार पर ग्राम छोई निवासी दो व्यक्तियों को गिरफ्तार किया है। दोनों पर भीड़ को उकसाने और चालक के साथ मारपीट करने का आरोप है। तहरीर में महिला ने बताया था कि उसका पति 23 अक्टूबर की सुबह बरेली से पिकअप वाहन में पालतू पशु का मांस रामनगर ला रहा था, तभी छोई क्षेत्र के पास कुछ लोगों ने वाहन को रोककर उसकी पिटाई कर दी। दोस्तो, 23 अक्टूबर की घटना से जुड़ी ये गंभीर हिंसा अब न्यायिक प्रक्रिया के दायरे में आ चुकी है। हाईकोर्ट ने एसएसपी नैनीताल को सीधे कोर्ट में पेश होने के आदेश दिए हैं, ताकि मामले में सख्त कार्रवाई सुनिश्चित हो सके और आरोपियों के खिलाफ निष्पक्ष न्याय हो, पुलिस ने अब तक कुछ आरोपियों को गिरफ्तार किया है, लेकिन मुख्य आरोपी अभी भी गिरफ्तारी से बाहर है। पीड़ित और स्थानीय जनता न्याय की मांग लगातार कर रही है, और उम्मीद की जा रही है कि कोर्ट के आदेश से इस मामले में जल्द ही स्पष्टता आएगी, यही थी रामनगर मांस प्रकरण की पूरी स्थिति, आगे भी आपको अपडेट करता रहूंगा।