देहरादून: पुलिसकर्मियों के 4600 ग्रेड पे की मांग को लेकर कुछ पुलिस कर्मियों के स्वजन बच्चों के साथ गांधी पार्क के बाहर पहुंच गए हैं। पुलिस कर्मियों के स्वजनों की ओर से प्रदर्शन की चेतावनी को लेकर सुबह से ही गांधी पार्क के आसपास पुलिस व पुलिस स्पेशल ब्रांच की टीम पहुंच गई और आला अधिकारियों को पल-पल की अपडेट देती रही। निलंबित किए गए पुलिसकर्मी की पत्नी आशी भंडारी का कहना है कि जब तक उनके पति की बहाली नहीं की जाएगी, तब तक वो वहां से नहीं जाएंगी। उन्होंने कहा कि स्वयं सरकार ने पुलिसकर्मियों के 4600 ग्रेड पे दिए जाने की बात कही थी, लेकिन ये सिर्फ घोषणा ही रह गई।
बताया जा रहा है कि प्रदर्शन शुरू होने से पहले निर्दलीय विधायक उमेश कुमार ने आशी भंडारी व अन्य से मुलाकात की। वहीं कांग्रेस के कुछ नेताओं ने उनसे बात की है। आशा भंडारी ने कहा कि, पुलिसकर्मियों के परिजनों तो उन्हीं लोगों ने भटकाया है। यदि ग्रेड पे की मांग करना हमारे लिए अनुशासनहीनता है तो बाकी अधिकारियों के लिए भी अनुशासनहीनता मानी जाए। उन्होंने कहा कि वो इसके विरोध में अनिश्चितकालीन धरना देंगी। उन्होंने कहा कि शासन जितना दबाव उनपर बना रहा है, इतना दबाव यदि 4600 रुपये ग्रेड पे पर बनाया जाता तो स्थिति कुछ और होती।
ग्रेड पे को लेकर पुलिस कर्मियों के परिजनों के असंतोष पर पूर्व सीएम हरीश रावत ने सीएम पुष्कर सिंह धामी से कार्यवाही की मांग की। उन्होंने कहा कि यह एक गंभीर समस्या है। परिजनों के सवाल उठाने पर पुलिस कर्मियों का निलंबन करना समस्या का समाधान नहीं है। ग्रेड पे व गोल्डन कार्ड के सवाल को सरकार को हल करना पड़ेगा। रावत ने सलाह दी कि सरकार को चाहिए कि संबंधित लोगों से बातचीत करे। पुलिस के सिस्टम से भी विचार विमर्श किया जाए। किसी ने किसी बिंदु पर आकर चीजें सुलझनी चाहिएं।