उत्‍तरकाशी सुरंग रेस्‍क्‍यू: चट्टानों के आगे मशीनें हो रही फेल, अब हथौड़े से सुरंग की दीवार तोड़ेंगे बचाव दल

उत्‍तरकाशी सुरंग बचाव अभियान के दौरान ड्रिलिंग के लिए इस्तेमाल हो रही यूएस मेड ऑगर मशीन की राह में बार-बार आ रही बाधाओं के कारण अब खास तैयारी हो रही है। अभियान में जुटे लोग अब पारम्परिक तरीके से हाथ से ही ड्रिलिंग करने के विकल्प पर विचार कर रहे हैं।

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उत्तरकाशी सिलक्यारा टनल में 41 मजदूरों की जिंदगी को बचाने की जद्दोजहद जारी है। Tunnel Accident Rescue Operation सुरंग में फंसे 41 मजदूरों को निकालने का आज 14वां दिन है। रेस्‍क्‍यू ऑपरेशन में जुटी ऑगर मशीन सुरंग में सरिये के जाल में फंस चुकी है। इसकी वजह से ड्रिलिंग का काम पिछले 24 घंटे से ठप पड़ा है। मिली जानकारी के अनुसार, ड्रिलिंग की राह में बार बार आ रही बाधाओं की वजह से अब मजदूर खुद उस पाइप लाइन में नीचे उतरेंगे जिसे सुरंग में फंसे श्रमिकों के करीब तक पहुंचा दिया गया है। 47 मीटर की ड्रिलिंग पूरी हो गई है। और 10 मीटर की ड्रिलिंग की जानी है। इसके लिए बचाव अभियान में जुटे एजेंसियों के जवान ड्रिलिंग करने के लिए इस्तेमाल होने वाले पारंपरिक यंत्र जैसे हथौड़ा, साबल, गैस कटर मशीन जैसे सामान्य टूल्स के साथ नीचे उतरेंगे।

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी मौके पर जमे हुए हैं और बचाव अभियान की निगरानी कर रहे है। इस बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बचाव अभियान पर रोज ही अपडेट ले रहे हैं। शनिवार को ही PM मोदी ने मुख्यमंत्री को फोन कर अभियान के चल रहे आखिरी चरण में तैयारियों और समस्याओं की विस्तृत जानकारी ली है। धामी ने श्रमिकों को जल्द ही सकुशल बाहर निकालने में सफल होने का दावा किया है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ बातचीत की जानकारी शेयर करते हुए मूख्यमंत्री धामी ने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर पोस्ट किया है। उन्होंने कहा, “प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सिलक्यारा, उत्तरकाशी टनल में फंसे श्रमिकों को लेकर बेहद संवेदनशील हैं। प्रधानमंत्री प्रतिदिन श्रमिकों का कुशलक्षेम एवं सुरंग में जारी राहत एवं बचाव कार्यों की विस्तृत जानकारी ले रहे हैं।”