चारधाम यात्रा अपने समापन की ओर है। गंगोत्री और यमुनोत्री धाम में दीपावली के पावन अवसर पर दीपोत्सव के साथ शीतकालीन कपाटबंदी की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। Uttarakhand Chardham Yatra 2024 अन्नकूट पर्व पर शीतकाल के लिए दोपहर 12.14 बजे बंद किए जाएंगे। कपाट बंद होने के बाद मां गंगा के दर्शन उनके शीतकालीन पड़ाव मुखबा स्थित गंगा मंदिर में होंगे। वहीं, यमुनोत्री धाम के कपाट रविवार को भैयादूज पर्व पर दोपहर 12.05 बजे पर बंद होंगे। केदारनाथ धाम में दीपावली के साथ ही भैयादूज पर रविवार को कपाट बंद करने को लेकर मंदिर समिति ने तैयारियां शुरू कर दी है। मंदिर को 10 कुंटल से अधिक फूलों से सजाया गया है। 3 नवंबर को प्रात: 8 बजकर 30 मिनट पर शीतकाल हेतु केदारबाबा के कपाट बंद हो रहे है।
भगवान केदारनाथ के कपाट शीतकाल के लिए बंद होने के अगले दिन यानी 4 नवंबर को तृतीय केदार तुंगनाथ के कपाट भी बंद हो जाएंगे। इसके साथ ही 17 नवंबर को बदरीनाथ धाम के कपाट बंद होंगे। 20 नवंबर को द्वितीय केदार मद्महेश्वर के कपाट शीतकाल के लिए बंद होंगे। शुक्रवार को दीपोत्सव के साथ मां भगवती गंगा के गंगोत्री धाम के कपाट बंद होने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। कपाट बंद होने के बाद मां गंगा की उत्सव मूर्ति को डोली यात्रा के साथ शीतकालीन पड़ाव मुखबा लाया जाएगा। उधर, यमुनोत्री धाम में भी कपाट बंदी की तैयारियां शुरू कर दी गई हैं। कल रविवार को यमुनोत्री धाम के कपाट बंद होने के बाद मां यमुना की उत्सव मूर्ति खरसाली गांव के लिए रवाना होगी। जहां स्थित मां यमुना मंदिर में शीतकाल के दौरान श्रद्धालु मां यमुना के दर्शन व पूजा अर्चना कर सकेंगे।