उत्तराखंड: आंगनबाड़ी वर्कर दो हजार की रिश्वत लेते गिरफ्तार, छात्रा की धनराशि पर थी नजर

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मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के जीरो टोलरेंस नीति पर रिश्वतखोर कर्मचारी और अधिकारियों के खिलाफ विजिलेंस की कार्रवाई लगातार जारी है। Sitarganj Anganwadi Worker Arrest इसी क्रम में कुमाऊं विजिलेंस की टीम ने मुख्य आंगनबाड़ी वर्कर को दो हजार रुपए की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया है। शिकायत सतर्कता विभाग के टोल फ्री नंबर 1064 पर प्राप्त हुई थी। शिकायतकर्ता ने बताया कि उसकी बहन, जिसने राजकीय कन्या इंटर कॉलेज, सितारगंज से इंटरमीडिएट परीक्षा उत्तीर्ण की थी, नंदा गौरा योजना के तहत मिलने वाली 40 हजार रुपये की सहायता राशि के लिए आवेदन कर चुकी थी। आरोप था कि योजना के फॉर्म पर हस्ताक्षर कराने के बदले में विद्यालय की प्रधानाचार्य ने 10 हजार और आंगनबाड़ी कार्यकर्ती ने 10 रुपये की रिश्वत मांगी।

जांच में सामने आया कि 28 मार्च 2025 को ही योजना की संपूर्ण राशि लाभार्थी के खाते में ट्रांसफर हो चुकी थी। इसके बावजूद आरोपी कमलेश लगातार शिकायतकर्ता पर 2,000 रुपये देने का दबाव बना रही थी। इतना ही नहीं, उसने धमकी दी थी कि यदि पैसे नहीं दिए गए तो भविष्य में किसी भी सरकारी योजना का लाभ नहीं मिलेगा और पूर्व में मिली धनराशि की जांच कराकर उसे रद्द करा दिया जाएगा। सत्यापन के बाद पुलिस उपाधीक्षक अनिल सिंह मनराल के पर्यवेक्षण में एक ट्रैप टीम गठित की गई। सोमवार को टीम ने कमलेश को शिकायतकर्ता से रिश्वत लेते हुए उसके घर के बाहर रंगे हाथों पकड़ लिया। आरोपी के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई की जा रही है।